हार्ट-रेट/धड़कन कम या ज्यादा, दोनों होते हैं सेहत के लिए खतरनाक!: जानें क्या होता हार्ट रेट और इसके घटने बढ़ने के लक्षण-प्रभाव...वही जानें क्यों जरूरी हैं हार्ट रेट पर नजर रखना
हार्ट-रेट/धड़कन कम या ज्यादा, दोनों होते हैं सेहत के लिए खतरनाक!

स्वास्थ्य: अगर आपका दिल बहुत तेज धड़क रहा है या फिर बहुत धीरे-धीरे, तो सावधान हो जाइए! डॉक्टरों का कहना है कि हार्ट रेट का ज्यादा या कम होना, दोनों ही जानलेवा हो सकते हैं। यही कारण है कि विशेषज्ञ अब हर किसी को सलाह दे रहे हैं कि “अपने हार्ट रेट पर लगातार नजर रखिए, वरना खतरे की घंटी कभी भी बज सकती है।”

क्यों जरूरी है हार्ट रेट पर नजर रखना?

आपको बता दें कि WHO की स्वास्थ्य रिपोर्ट साफ कहती है कि हर व्यक्ति को ब्लड प्रेशर, कोलेस्ट्रॉल और हार्ट रेट पर लगातार ध्यान देना चाहिए। अगर धड़कन नॉर्मल रेंज (60-100 BPM) में है, तो आपका दिल सही ढंग से खून और ऑक्सीजन शरीर के हर हिस्से तक पहुंचा रहा है। लेकिन अगर हार्ट रेट असामान्य हो जाए, तो हार्ट अटैक, स्ट्रोक और कार्डियक फेलियर तक का खतरा बढ़ सकता है। यही वजह है कि हार्ट रेट को नज़रअंदाज करना लापरवाही नहीं, बल्कि सीधे-सीधे दिल को खतरे में डालना है।

हार्ट रेट क्या होता है?

गौरतलब है कि हार्ट रेट यानी दिल एक मिनट में कितनी बार धड़कता है। सामान्य इंसान का हार्ट रेट 60-100 बीट प्रति मिनट होता है वहीं फिटनेस फ्रीक या खिलाड़ी का 50 BPM तक भी नॉर्मल रहता है। वहीं आदर्श हार्ट रेट 60-80 BPM होता है।

घर बैठे ऐसे चेक करें हार्ट रेट :

आपको बता दें कि बिना डॉक्टर, बिना मशीन, बस 1 मिनट में अपना हार्ट रेट जान सकते हैं!

 1. तर्जनी और बीच की उंगली को कलाई या गले की नस पर रखें।

 2. हल्का दबाव डालें और धड़कन महसूस करें।

 3. मोबाइल का टाइमर लगाकर 60 सेकंड तक गिनें।

जितनी बार धड़कन महसूस हुई, वही आपका हार्ट रेट है। जल्दी गिनना चाहते हैं तो 30 सेकंड तक गिनकर उसे 2 से गुणा कर लें। स्मार्टवॉच और फिटनेस बैंड भी मदद करते हैं, लेकिन डॉक्टर मानते हैं कि उंगली से गिनी गई धड़कन सबसे भरोसेमंद है।

हार्ट रेट ज्यादा हुआ तो क्या होगा? :

विदित है कि अगर धड़कन लगातार 100 BPM से ऊपर है, तो यह खतरनाक संकेत है।

 इसके लक्षण: 

सीने में दर्द

चक्कर आना

सांस फूलना

बेचैनी या अचानक बेहोशी

रिसर्च कहती है कि जिनका रेस्टिंग हार्ट रेट 100 से ऊपर रहता है, उनमें हार्ट डिजीज से मौत का खतरा दोगुना हो जाता है।

हार्ट रेट कम हुआ तो क्या होगा? :

गौरतलब हैं कि अगर दिल 60 BPM से भी नीचे धड़क रहा है, तो इसका मतलब शरीर और दिमाग तक ऑक्सीजन सही से नहीं पहुंच रही।

 इसके लक्षण : 

थकान और कमजोरी

सिर घूमना

सांस लेने में दिक्कत

अचानक बेहोशी

दिल की बीमारियां अब सिर्फ बुजुर्गों तक सीमित नहीं रहीं। कम उम्र के युवा भी इसके शिकार हो रहे हैं। इसलिए ज़रूरी है कि समय रहते अपनी लाइफस्टाइल बदलें, हेल्दी डाइट लें, रोज़ाना वॉक या योग करें और हार्ट रेट को अपनी डेली हेल्थ रूटीन का हिस्सा बनाएं। 

याद रखिए कि आपका दिल ही आपकी जान है। इसकी हर धड़कन पर ध्यान दीजिए, वरना देर होने पर पछताना पड़ सकता है।

डिस्क्लेमर: यह रिपोर्ट मेडिकल रिसर्च और जनरल जानकारी पर आधारित है। किसी भी स्वास्थ्य समस्या के लिए डॉक्टर की राय ज़रूर लें। NCR पत्रिका इसकी सटीकता या व्यक्तिगत असर की जिम्मेदारी नहीं लेती।

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