कम उम्र में ही सफेद हो रहे हैं बाल तो हो जाएं सावधान!: जानें क्या है बालों के कालापन खोने के कारण और कैसे कर सकते हैं इससे बचाव?
कम उम्र में ही सफेद हो रहे हैं बाल तो हो जाएं सावधान!

स्वास्थ्य: आजकल युवाओं में समय से पहले बाल सफेद होने की समस्या तेजी से बढ़ रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, दुनिया भर में हर साल लाखों लोग इस समस्या से जूझ रहे हैं। हैरानी की बात यह है कि 25 साल से कम उम्र के 25% से ज्यादा युवाओं के बाल सफेद होने लगे हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि यह सिर्फ जेनेटिक्स नहीं, बल्कि शरीर में पोषक तत्वों की गंभीर कमी का संकेत है।

बालों का कालापन क्यों खोता है? यह है वैज्ञानिक कारण

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि बालों का काला रंग मेलानिन नामक पिगमेंट के कारण होता है, जो हेयर फॉलिकल्स में बनता है। अपोलो स्पेक्ट्रा हॉस्पिटल के सीनियर डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ. संदीप अरोड़ा के अनुसार, "जब शरीर में विटामिन B12, विटामिन D, कॉपर, जिंक और आयरन जैसे जरूरी पोषक तत्वों की कमी हो जाती है, तो मेलानिन बनाने वाली कोशिकाएं (मेलानोसाइट्स) कमजोर हो जाती हैं। नतीजा - बाल समय से पहले सफेद होने लगते हैं।"

5 बड़ी कमियां जो बनाती हैं बाल सफेद :

1. विटामिन B12 की कमी - सबसे बड़ा दोषी :

B12 डीएनए बनाने और रेड ब्लड सेल्स के प्रोडक्शन में मदद करता है। इसकी कमी से हेयर फॉलिकल्स को पर्याप्त ऑक्सीजन और पोषण नहीं मिल पाता। डॉ. के मुताबिक, शाकाहारी लोगों में यह कमी आम है क्योंकि B12 मुख्य रूप से एनिमल प्रोडक्ट्स में पाया जाता है। ऐसे में खानें में ल अंडे, दूध, दही, पनीर, मछली और फोर्टिफाइड सीरियल्स फायदेमंद होते हैं।

2. विटामिन D की कमी - सूरज की कमी का असर :

गौरतलब है कि विटामिन D हेयर फॉलिकल्स की सेहत के लिए जरूरी है। इसकी कमी से मेलानिन प्रोडक्शन बाधित होता है। ऐसे में रोजाना 15-20 मिनट धूप में बैठना फायदेमंद हो सकता है। खानें में मछली, अंडे की जर्दी और फोर्टिफाइड दूध का सेवन बढ़ा देना चाहिये।

3. कॉपर की कमी - मेलानिन का सीधा निर्माता :

विज्ञान के अनुसार कॉपर सीधे तौर पर मेलानिन के उत्पादन में मदद करता है। इसकी कमी सीधे-सीधे बालों के रंग को उड़ा देती है। तिल, बादाम, काजू, सूरजमुखी के बीज और दालें इसकी कमी को पूरा कर देती हैं।

4. जिंक और आयरन की कमी - ऑक्सीजन और रिपेयर का संकट :

जिंक टिशू रिपेयर करता है और आयरन बालों तक ऑक्सीजन पहुंचाता है। इनकी कमी से बालों का पोषण बाधित होता है। इसके लिए खाने में पालक, बीन्स, दालें, नट्स और सीड्स का सेवन फायदेमंद रहता है।

5. विटामिन B7 (बायोटिन) और B5 की कमी :

आपको बता दें कि बायोटिन बालों की ग्रोथ और मजबूती के लिए, जबकि B5 फॉलिकल्स को पोषण देकर सफेद होने से रोकता है। एक्सपर्ट्स बताते हैं, "विटामिन B5 लेने से कई बार बालों का रंग वापस आ भी जाता है। मूंगफली, अखरोट, दालें और अंडे इसके बढ़ाने में फायदेमंद रहता है।

इन लक्षणों को न करें नजरअंदाज :

अगर आपमें ये लक्षण दिखें, तो समझ जाएं कि बाल सफेद होने का खतरा है:

●बालों का तेजी से झड़ना और पतला होना
●बालों का बहुत धीमी गति से बढ़ना
●त्वचा और स्कैल्प का रूखा होना
●नाखूनों का कमजोर होकर टूटना
●लगातार थकान और कमजोरी महसूस होना

बचाव के 5 सुनहरे नियम :

1. संतुलित आहार: रोजाना की डाइट में दूध, अंडे, हरी सब्जियां, नट्स और दालों को जरूर शामिल करें।

2. धूप से दोस्ती: रोजाना 15-20 मिनट सुबह की धूप लें।

3. तनाव से दूरी: योग और मेडिटेशन को दिनचर्या का हिस्सा बनाएं।

4. नींद है जरूरी: रोजाना 7-8 घंटे की अच्छी नींद लें।

5. जंक फूड ना खाएं: प्रोसेस्ड और जंक फूड से परहेज करें।

डॉक्टर्स का कहना है कि ये छोटे बदलाव, बड़ा फर्क लाते हैं उनके अनुसार "सफेद बालों को पूरी तरह से काला तो नहीं किया जा सकता, लेकिन सही पोषण और स्वस्थ जीवनशैली अपनाकर इस प्रक्रिया को काफी हद तक धीमा जरूर किया जा सकता है।" जरूरत है तो बस अपनी डेली रूटीन में छोटे-छोटे पोषण से भरपूर बदलाव करने की। याद रखें, आपके बालों का स्वास्थ्य आपके समग्र स्वास्थ्य का आईना है।

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