धर्म और संस्कृति: हरिद्वार में इस साल की कांवड़ यात्रा के लिए सुरक्षा व्यवस्था पहले से कहीं ज्यादा कड़ी और व्यवस्थित होगी। इस बार थ्री-लेयर सिक्योरिटी (तीन परतों वाली सुरक्षा व्यवस्था) लागू की जा रही है। कांवड़ियों की भीड़ और संभावित खतरे को देखते हुए सुरक्षा को सुपर जोन, जोन और सेक्टर में बांटा गया है।
तीन परतों की सुरक्षा क्या होती है?
आपको बता दें कि इस बार सुरक्षा 3 परतों में होगी।
1. पहली परत – मुख्य कांवड़ मार्ग, घाट, हाईवे और पार्किंग क्षेत्रों की निगरानी
2. दूसरी परत – ड्रोन, साइबर टीम, इंटेलिजेंस और एंटी बम स्क्वॉड
3. तीसरी परत – जल पुलिस, फायर टीम, ट्रैफिक और मोटरबाइक दस्ते
कितने पुलिसकर्मी तैनात होंगे?
गौरतलब है कि कुल पुलिस बल की संख्या 2023 में जहां 2,444 और 2024 में 2,781 थी। इस साल 2025 में वो बढ़ाकर 2,981 (537 ज्यादा) कर दी गयी है। इसके अलावा PAC, केंद्रीय बल, बम स्क्वॉड, ड्रोन टीम आदि को मिलाकर कुल बल 6,000 से अधिक कर दिया गया है।
हरिद्वार के मुख्य सुपर जोन :
आपको बता दें कि हरिद्वार को कई सुपर जोन में बांटा गया है, जिसमें प्रमुख जोन निम्नलिखित है।
●हर की पैड़ी और बड़ा बाजार
●ललताराव पुल, मनसा देवी
●चंडीपुल, बैरागी कैंप, कनखल
●झबरेड़ा, कलियर, लक्सर
●ज्वालापुर, रुड़की, नीलधारा क्षेत्र
हर ज़ोन में CCTV, पैदल गश्त, वॉच टावर और ट्रैफिक पुलिस की तैनाती होगी।
बलों की तैनाती के क्या हैं आंकड़े?
ASP (अपर पुलिस अधीक्षक): 16
DSP (उपाधीक्षक): 38
इंस्पेक्टर और सब-इंस्पेक्टर: 360
महिला पुलिसकर्मी: 1900+
PAC कंपनियां: 15
CISF/BSF कंपनियां: 18
बम स्क्वॉड: 6 टीमें
ड्रोन यूनिट: 3
इसके साथ ही जल पुलिस, अग्निशमन वाहन, मोटरसाइकिल टीमें भी इस दौरान सक्रिय रहेंगी।
कांवड़ मार्ग की सुरक्षा कैसे होगी?
गौरतलब है कि सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करते हुए इस बार ड्रोन कैमरे लगातार ऊपर से निगरानी करेंगे। साइबर टीम सोशल मीडिया की अफवाहें रोकेगी। साथ ही बम डिस्पोजल यूनिट और डॉग स्क्वॉड तैनात रहेंगें, इसके साथ ही महिला पुलिस बल घाटों और कैंपों में तैनात रहेगी। प्रत्येक 500 मीटर पर सहायता केंद्र बनाए जाएंगे। एसएसपी हरिद्वार प्रमेन्द्र सिंह डोबाल ने कहा कि - "इस बार सुरक्षा व्यवस्था को पहले से कहीं बेहतर और स्मार्ट बनाया गया है। हर शिवभक्त की सुरक्षा हमारी जिम्मेदारी है।"
श्रद्धालुओं के लिए विशेष सुविधा :
विदित है कि इस बार रूट डायवर्जन की जानकारी समय से दी जाएगी। मेडिकल कैम्प, पानी, भोजन की व्यवस्था रहेगी। साथ ही गूगल मैप और GPS से मार्ग संकेत का प्रयोग किया जा सकेगा। साथ ही हेल्पलाइन नंबर और सहायता केंद्र हर जोन में बना दिया गया है जिससे श्रद्धालुओं को कोई परेशानी न हो।
हरिद्वार कांवड़ यात्रा 2025 न सिर्फ धार्मिक आयोजन है, बल्कि एक बड़े प्रशासनिक और सुरक्षा प्रबंधन का उदाहरण भी है। इस बार शिवभक्त निश्चिंत होकर यात्रा कर सकें इसके लिए प्रशासन ने चौकसी को और सख्त कर दिया है।