देशभर में वाहन चालकों के लिए बड़ी खुशखबरी!: घटेगा टोल-टैक्स, अगले हफ्ते से नई दरें होंगी लागू...जानें राहत और नई दरें
देशभर में वाहन चालकों के लिए बड़ी खुशखबरी!

नई दिल्ली : देशभर के वाहन चालकों के लिए बड़ी खुशखबरी आई है। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) ने टोल टैक्स को घटाने की तैयारी शुरू कर दी है। सूत्रों के मुताबिक अगले हफ्ते से नई दरें लागू हो सकती हैं। इसका सीधा फायदा लाखों गाड़ी चालकों, खासकर छोटी गाड़ियों के मालिकों को मिलेगा।

कैसे घटेगा टोल टैक्स?

आपको बता दें कि अब तक टोल की दरें तय करने के लिए साल 2004-05 को आधार वर्ष माना जाता था। लेकिन एनएचएआई ने इसे बदल दिया है। अब नई गणना 2011-12 को आधार मानकर होगी। 2004-05 के आधार पर लिंकिंग फैक्टर 1.641 था वहीं 2011-12 के आधार पर लिंकिंग फैक्टर 1.561 है। यानी महंगाई का दबाव थोड़ा कम हो गया और टोल दरें घटाने की गुंजाइश बन गई है।

किसे कितना फायदा मिलेगा?

गौरतलब है कि छोटी गाड़ियों के टोल में 5 से 10 रुपये तक की कमी आने की संभावना है यानी अप्रैल 2025 में जो बढ़ोतरी (5%) हुई थी, वह लगभग खत्म हो जाएगी। टोल दरें पिछले साल जैसी हो सकती हैं।

अभी तक क्या स्थिति थी?

विदित है कि हर साल 1 अप्रैल से टोल दरों में 5-7% की बढ़ोतरी की जाती है। अप्रैल 2024 में 7.5% बढ़ोतरी और अप्रैल 2025 में 5% बढ़ोतरी हुई। लेकिन अब इस बार उल्टा होगा यानी बढ़ोतरी वापस ली जा सकती है।

टोल से कितना आता है पैसा?

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि देशभर में 1,087 टोल प्लाजा हैं। रोजाना करीब 168 करोड़ रुपये की वसूली होती है। हर साल करीब 61 हजार करोड़ रुपये टोल से आता है। सिर्फ हरियाणा की बात करें तो यहां 55 टोल प्लाजा हैं। रोजाना करीब 9 करोड़ रुपये की वसूली होती है। हिसार क्षेत्र के 10 टोल से ही 1.68 करोड़ रुपये प्रतिदिन आते हैं।

क्यों खास है यह फैसला?

आपको बता दें कि यह कदम ऐसे समय पर उठाया गया है जब लोग लगातार पेट्रोल-डीजल और टोल टैक्स की बढ़ती मार से परेशान हैं। जीएसटी बचत उत्सव की तर्ज पर अब गाड़ियों के लिए "टोल बचत उत्सव" जैसा माहौल बन सकता है।

अब आगे क्या?

गौरतलब है कि एनएचएआई ने अपने सभी क्षेत्रीय कार्यालयों को निर्देश जारी कर दिए हैं। प्रस्तावित दरों पर काम शुरू हो चुका है और अगले हफ्ते से नई दरें लागू होने की पूरी संभावना है।

यानी अब लंबी दूरी की यात्रा करने वाले गाड़ी मालिकों को जेब पर थोड़ी राहत मिलेगी। सबसे ज्यादा फायदा कार और जीप जैसी हल्की गाड़ियों के मालिकों को मिलेगा, जबकि भारी वाहनों के लिए स्थिति लगभग जस की तस रह सकती है।

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