दिल्ली के रेलवे स्टेशनों की सुरक्षा व्यवस्था को RPF करेगी और मजबूत!: लगेंगें 2000 कैमरे, 385 डिटेक्टर और बॉडी कैमरा, जानिए कैसे बदलेगा दिल्ली का हर रेलवे स्टेशन
दिल्ली के रेलवे स्टेशनों की सुरक्षा व्यवस्था को RPF करेगी और मजबूत!

 नई दिल्ली : फरवरी में नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ में 18 जानें जाने से पूरा देश स्तब्ध था। लेकिन अब रेलवे सुरक्षा बल (RPF) ने कमर कस ली है। दिल्ली के सभी रेलवे स्टेशनों पर एक बड़ा सुरक्षा बदलाव होने जा रहा है, ऐसा बदलाव जो न सिर्फ सुरक्षा को नए स्तर पर ले जाएगा, बल्कि हर यात्री की यात्रा को पहले से कहीं ज़्यादा सुरक्षित और व्यवस्थित बनाएगा। इस परिवर्तन में टेक्नोलॉजी, भीड़ प्रबंधन, निगरानी और जवाबदेही चारों पर बारीकी से काम किया गया है। जानें इस दैरान क्या-क्या बदलने जा रहा है? 

भगदड़ रोकने की ठोस योजना :

आपको बता दें कि अब स्टेशनों पर Queue Managers लगाए जाएंगे  यानी यात्रियों को अब लाइन में खड़ा होना होगा। Mojo बैरियर्स टेढ़े-मेढ़े तरीके से लगाए जाएंगे जिससे अचानक धक्का-मुक्की और भगदड़ से बचा जा सके। भारी स्टील रॉड वाले रिबन Queue managers स्टेशन के अंदर और पानी से भरे प्लास्टिक बैरियर बाहर लगाए जाएंगे।

100 बैरिकेड्स से संख्या बढ़ाकर 270 की जा रही है। :

गौरतलब है कि RPF का कहना है कि फरवरी की भगदड़ अब दोहराई नहीं जाएगी RPF अब एक कदम आगे है। बैरिकेड्स की संख्या 100 से बढ़ाकर 270 की जा रही है।

सुरक्षा जांच होगी हाईटेक  :

आपको बता दें कि स्टेशन पर अभी 27 बैग स्कैनर हैं, अब 28 नए और अत्याधुनिक स्कैनर आ रहे हैं। 385 नए हैंडहेल्ड मेटल डिटेक्टर और 18 DFMDs (डोर फ्रेम डिटेक्टर) पहले ही खरीदे जा चुके हैं। अब कोई संदिग्ध वस्तु नजरअंदाज नहीं होगी क्योंकि हर बैग पर नज़र और हर कदम पर सामान स्कैन होने वाला है।

कैमरों की बाढ़ – कोई भी हरकत नहीं बचेगी नजर से :

विदित है कि स्टेशनों पर 2000+ नए हाई-डेफिनिशन CCTV कैमरे, संवेदनशील हिस्सों में लगाए जाएंगे। कैमरे लेटेस्ट तकनीक से लैस होंगें। ये  चेहरे पहचानने, रियल टाइम अलर्ट देने और घटनाओं की रिकॉर्डिंग में सक्षम होंगें। चोरी, छेड़छाड़, ट्रेसपासिंग जैसी घटनाएं अब तुरंत पकड़ में आएंगी। अब हर मूवमेंट कैमरे की नजर में होगा तथा हर संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत एक्शन होगा।

सुरक्षाकर्मी भी बनेंगे 'हाईटेक' :

गौरतलब है कि सुरक्षा प्रक्रिया के दौरान 400+ वॉकी-टॉकी सेट पहले से है और 270 और खरीदने की प्रक्रिया में है। 100+ बॉडीवॉर्न कैमरे आरपीएफ कर्मियों की वर्दी पर लगाएं जाएंगे जिससे हर कार्रवाई रिकॉर्ड होगी। हर बातचीत, हर फैसला कैमरे में रिकॉर्ड होगी और सारी जवाबदेही अब ऑन रिकॉर्ड होगी।

स्टेशन को किया जा रहा रिडिजाइन :

आपको बता दें कि एक आरपीएफ अधिकारी ने बताया कि : “यात्री अक्सर ट्रेन आते ही दौड़ पड़ते हैं, जिससे भगदड़ होती है। अब Queue Managers और Mojo बैरियर के जरिए ट्रेन में चढ़ना एक नियंत्रित प्रक्रिया होगा। स्टेशनों को युद्ध स्तर पर री-डिजाइन किया जा रहा है।”

नए सिस्टम का असर क्या होगा? :

विदित है कि हर प्लेटफॉर्म पर आधुनिक भीड़ प्रबंधन चालू होगा, हर गेट पर सतर्क निगरानी चालू होगी, हर अधिकारी के पास संचार और निगरानी का पावर होगा। और सबसे अहम यात्री को सुरक्षा का भरोसा रहेगा।

दिल्ली के रेलवे स्टेशन अब 'पुराने जमाने के अफरा-तफरी वाले ठिकाने' नहीं रहेंगे। अब यहां अनुशासन होगा, निगरानी होगी और सुरक्षा रहेगी। RPF का यह कदम सिर्फ तकनीकी बदलाव नहीं है, अब दिल्ली के रेलवे स्टेशनों पर न सिर्फ ट्रेनें समय से चलेंगी, बल्कि सुरक्षा भी मजबूत होगी।

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