स्वास्थ्य: अगर आपको लगता है कि फिट रहने के लिए घंटों जिम में पसीना बहाना या महंगी डाइट लेना ज़रूरी है, तो अब सोच बदलने का समय आ गया है। हाल ही में हार्वर्ड यूनिवर्सिटी और ब्रिटिश मेडिकल जर्नल (BMJ) में प्रकाशित एक अध्ययन ने बताया है कि रोज़ सिर्फ 10 मिनट की तेज़ वॉक आपकी उम्र 5 से 7 साल तक बढ़ा सकती है, साथ ही दिल और दिमाग दोनों को मजबूत बनाती है।
रिसर्च में क्या पाया गया?
वैज्ञानिकों ने अमेरिका, जापान और यूरोप के लगभग 4.8 लाख लोगों पर अध्ययन किया। जो लोग रोज़ाना 10 से 15 मिनट तक चलते थे, उनमें हार्ट अटैक, डायबिटीज़ और स्ट्रोक का खतरा 30% तक कम पाया गया। हार्वर्ड मेडिकल स्कूल की रिपोर्ट में यह भी सामने आया कि रोज़ाना की वॉकिंग से डिप्रेशन, स्ट्रेस और नींद की समस्या में भी सुधार होता है।
जर्नल ऑफ द अमेरिकन मेडिकल एसोसिएशन (JAMA Network) की रिपोर्ट के अनुसार “दिन के 10 मिनट की तेज़ चाल से जीवन प्रत्याशा में औसतन 20% की वृद्धि देखी गई।”
वॉकिंग के 6 चमत्कारी फायदे
पहला- दिल मजबूत बनता है और ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है।
दूसरा- ब्लड शुगर और कोलेस्ट्रॉल दोनों नियंत्रित रहते हैं।
तीसरा- दिमाग़ में सेरोटोनिन और डोपामाइन बढ़ता है, जिससे मूड खुश रहता है।
चौथा- नींद की गुणवत्ता बेहतर होती है और नींद गहरी आती है।
पांचवां- हड्डियाँ और मांसपेशियाँ लचीली बनती हैं, जिससे दर्द और जकड़न कम होती है।
छठा- पाचन शक्ति और इम्युनिटी दोनों को बूस्ट करती है, जिससे शरीर बीमारियों से बचा रहता है।
विशेषज्ञों की राय:
कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. आर.के. शर्मा (AIIMS, दिल्ली) के अनुसार “वॉकिंग एक ऐसी दवा है जिसका कोई साइड इफेक्ट नहीं। यह दिल को पंपिंग के लिए मजबूती देती है और स्ट्रेस हार्मोन घटाती है।”
वहीं न्यूरोलॉजिस्ट डॉ. मेधा अरोड़ा का कहना है “सिर्फ 10 मिनट की वॉक भी ब्रेन फंक्शन और मेमोरी को 20% तक एक्टिव रख सकती है। यह मानसिक स्वास्थ्य के लिए जादुई दवा जैसी है।”
वॉकिंग का सही तरीका क्या है?
सुबह या शाम की हल्की धूप में वॉक करना सबसे फायदेमंद होता है। पहले 5 मिनट धीरे-धीरे वॉर्मअप करें, फिर 10 मिनट तेज़ वॉक करें और अंत में 2 मिनट कूलडाउन करें। आरामदायक जूते पहनें, चलते समय मोबाइल का उपयोग न करें और सांसों की लय पर ध्यान दें। अगर आप शुरुआत कर रहे हैं, तो पहले 5 मिनट से शुरू करें और हर हफ्ते समय थोड़ा बढ़ाएं।
वॉकिंग से जुड़े आम मिथक और सच्चाई:
कई लोग मानते हैं कि सिर्फ जिम जाने से ही फिटनेस आती है, जबकि सच्चाई यह है कि रोज़ 10 मिनट की वॉक भी काफी है। कुछ लोगों को लगता है कि वॉक सिर्फ सुबह करनी चाहिए, लेकिन शाम की वॉक भी उतनी ही फायदेमंद है।
बहुतों को लगता है कि तेज़ वॉक से थकान बढ़ती है, जबकि यह शरीर में एनर्जी और ऑक्सीजन दोनों बढ़ाती है। कई लोगों को यह भी भ्रम है कि वॉकिंग से वजन नहीं घटता, जबकि लगातार रोज़ाना की वॉक से मेटाबॉलिज्म तेज़ होता है और वजन नियंत्रित रहता है।
WHO की सलाह:
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) का कहना है कि हर व्यक्ति को हफ्ते में कम से कम 150 मिनट की फिजिकल एक्टिविटी करनी चाहिए। इसका मतलब है कि अगर आप रोज़ 10 से 15 मिनट भी चलते हैं, तो आप इस लक्ष्य को बिना किसी अतिरिक्त मेहनत के पूरा कर सकते हैं।
रोज़ की वॉक क्यों है आपकी सबसे सस्ती ‘दवा’:
किसी दवा या खर्च की ज़रूरत नहीं, बस चलना शुरू करें। हर कदम आपको बीमारी से एक कदम दूर और जिंदगी से एक कदम करीब ले जाता है। सुबह की वॉक न सिर्फ शरीर बल्कि दिमाग और आत्मा को भी जगाती है। यह आपके दिन की शुरुआत को सकारात्मक, ताज़गी भरी और ऊर्जावान बनाती है।
“हर कदम आपको बीमारी से एक कदम दूर और जिंदगी के एक साल करीब ले जाता है।”
निचोड़:
अगर आप लंबी उम्र, फिट शरीर और खुशहाल मन चाहते हैं, तो रोज़ 10 मिनट खुद को दीजिए। आपका हर कदम आपकी नई उम्र की ओर उठाया गया कदम है।