राजस्थान चुनावी मैदान एक नज़र मे: राजस्थान की 25 सीटों पर दो चरणों में होंगे मतदान, जानिए कहा कब होंगे मतदान और किसका रहेगा दबदबा?
राजस्थान चुनावी मैदान एक नज़र मे

जयपुर: देशभर में चुनावी रणभेरी बज चुकी है। राजस्थान में लोकसभा के चुनाव दो चरणों में संपन्न होंगे। पहले चरण की वोटिंग 19 अप्रैल को होगी, जिसमें 12 सीटों पर वोटिंग होगी। वहीं दूसरे चरण में 13 सीटों पर वोटिंग होगी। दूसरे चरण का चुनाव 26 अप्रैल को होगा।

उल्लेखनीय है कि 16 मार्च को चुनाव तिथि की घोषणा के साथ ही देशभर में आचार संहिता भी लागू हो चुकी है। लोकसभा चुनाव से पहले दोनों ही पार्टियों के बीच सियासी उठापटक का दौर देखने को मिला। बीजेपी- कांग्रेस दोनों पार्टियों के नेताओं ने इस दौरान पाला बदला। कई नेता कांग्रेस और दूसरे बीजेपी में शामिल हुए। चुनाव के आखिर दिन भी कई नेताओं ने पार्टी बदली है। बहरहाल अब तारीखों का ऐलान हो गया है। इस रिपोर्ट के जरिए जानिए राजस्थान में दूसरे चरण में किस लोकसभा सीटों पर मतगणना होगा।

पहले चरण में 12 सीटों पर वोटिंग

पहले चरण में गंगानगर, बीकानेर, चूरू, झुंझुनूं, सीकर, जयपुर ग्रामीण, जयपुर, अलवर, भरतपुर, करौली-धौलपुर, दौसा और नागौर में वोटिंग। 

दूसरे चरण में 13 सीटों पर वोटिंग

टोंक-सवाई माधौपुर, अजमेर, पाली, जोधपुर, बाड़मेर, जालौर, उदयपुर, बांसवाड़ा, चित्तौड़गढ़, राजसमंद, भीलवाड़ा, कोटा और झालावाड़-बारां में वोटिंग होगी।

कब से शुरू होगी नामांकन प्रक्रिया

निर्वाचन आयोग की ओर से जारी तारीखों के अनुसार प्रदेश के पहले चरण की नामांकन प्रक्रिया 20 मार्च से शुरू होगी। इसी तरह दूसरे चरण का नोटिफिकेशन 28 मार्च से शुरू होगा। चुनाव के लिए नामांकन की आखिरी तारीख 4 अप्रैल है। नामांकन प्रक्रिया के बाद 8 अप्रैल तक उम्मीदवार अपना नाम वापस ले सकते हैं। 26 अप्रैल तक दूसरे चरण के मतदान की गणना होगा। मतगणना के बाद 4 जून तक रिजल्ट घोषित होगा और 6 जून तक चुनाव संपन्न हो जाएंगे।


3 प्रतिशत फर्स्ट टाइम वोटर पर दोनों पार्टियों का फोकस

इस बार राजस्थान में पहली बार वोट डालने वाले मतदाताओं की संख्या 15 लाख 70 हजार से अधिक है। इन 3 प्रतिशत फर्स्ट टाइम वोटर को अपने पक्ष में करने के लिए भाजपा और कांग्रेस दोनों ही पार्टियां पूरा जोर लगा रही है। राजनीतिक जानकारों के मुताबिक यह तीन प्रतिशत वोट जीत-हार में बड़ी भूमिका निभा सकता है। इसके साथ ही 18 से 39 साल के वोटर्स को लुभाने के लिए भी दोनों पार्टियां पूरा जोर लगा रही हैं। वहीं प्रदेश में 100 साल से ज्यादा उम्र के 20 हजार 496 वोटर हैं।

ये दिग्गज होंगे दल बदल के बाद मैदान में

इस बार के लोकसभा चुनाव बड़ी संख्या में नेताओं की दल बदली के कारण ज्यादा दिलचस्प होंगे। एक तरफ जहां चुनावों से पहले कांग्रेस के 32 नेता भाजपा में शामिल हो गए, वहीं भाजपा द्वारा चुरू से टिकट कटने के बाद पूर्व सांसद राहुल कस्वां पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए। इन्हें कांग्रेस ने चुरू से ही अपना लोकसभा प्रत्याशी घोषित किया है, जहां इनका मुकाबला भाजपा के देवेंद्र झाझड़िया से होगा।

ये हुए भाजपा में शामिल

कांग्रेस छोड़कर भाजपा में गए 32 नेताओं में महेंद्रजीत सिंह मालवीय का नाम सबसे ऊपर है। इनके बाद पूर्व मंत्री राजेंद्र यादव और लालचंद कटारिया, पूर्व कांग्रेस विधायक रिछपाल मिर्धा, रिजु झुनझुनवाला, विजयपाल मिर्धा, खिलाड़ी बैरवा, पूर्व राज्य पार्टी प्रमुख सेवादल सुरेश चौधरी, रामपाल शर्मा और पूर्व निर्दलीय विधायक आलोक बेनीवाल समेत अन्य नेता शामिल हैं।


2019 में भी प्रदेश में दो चरणों में हुआ था चुनाव

वर्ष 2019 में 11 अप्रैल से 19 मई के बीच सात चरणों में आयोजित लोकसभा चुनावों में राजस्थान में दो चरणों में चुनाव कराए गए थे। इनमें पहले चरण के चुनाव 29 अप्रैल को हुए थे, वहीं दूसरे चरण का लोकसभा चुनाव 6 मई को आयोजित हुआ था। इन चुनावों के नतीजों की घोषणा 23 मई को कर दी गई थी। इस बार के लोकसभा चुनाव के लिए भी कुल 543 सीटों पर 6 से 7 चरणों में मतदान होने की संभावना जताई जा रही है।

किस-किस के बीच होगा मुकाबला

सीट का नाम                   कांग्रेस प्रत्याशी                      बीजेपी प्रत्याशी
जोधपुर                        करण सिंह उचियारड़ा          गजेंद्र सिंह शेखावत
अलवर                         ललित यादव                      भूपेंद्र यादव
बीकानेर                        गोविंद मेघवाल                   अर्जुनराम मेघवाल
चूरू                             राहुल कस्वां                        देवेंद्र झांझडिया
जालोर-सिरोही               वैभव गहलोत                      लुंबाराम चौधरी
भरतपुर                         संजना जाटव                       राम स्वरूप कोली
उदयपुर                          ताराचंद मीणा                       मन्नालाल रावत
चित्तोड़गढ़                       उदयलाल आंजना                 सीपी जोशी

इनके अलावा बांसवाड़ा-डूंगरगढ़ सीट से भाजपा के महेंद्रजीत सिंह मालवीय के सामने क्षेत्र के जाने-माने आदिवासी नेता राजकुमार रोत BAP के टिकट से चुनाव मैदान में हैं। 

आचार संहिता लगते ही सख्ती शुरू

 निष्पक्ष और स्वतंत्र रूप से चुनाव कराने के लिए चुनाव आयोग आचार संहिता को लागू करती है। आज जब लोकसभा चुनाव की तारीखों का एलान होगा तो आचार संहिता भी अपने आप लागू हो जाएगी। ऐसे में चुनावी राज्यों में राजनीतिक दलों को इसका पालन करना बेहद जरूरी हो जाएगा। इसके कुछ नियम होते है जो की पूरे चुनावी प्रक्रिया के दौरान भाजपा, कांग्रेस और अन्य पार्टियों के दलों को मानने पड़ते है। आचार संहिता चुनाव खत्म होने तक लागू रहते है।

आचार संहिता मे लागू होने वाले नियम

-कोई भी राजनीतिक पार्टी नहीं कर सकेगी सरकारी योजनाओं, लोकार्पण, शिलान्यास या भूमि पूजन का आयोजन। 
-सरकारी साधनों का चुनाव प्रचार में उपयोग नहीं किया जाएगा। 
-चुनावी रैली या जुलूस के लिए पुलिस की अनुमति अनिवार्य होगी।
-वोट मांगते समय धर्म या जाति का उल्लेख नहीं किया जाएगा।
-चुनाव प्रचार के दौरान किसी भी संपत्ति पर बिना अनुमति के पोस्टर या झंडे लगाना मना होगा।
-वोटिंग केंद्रों पर शराब की दुकानें बंद रहेंगी। 
-चुनाव प्रचार में शराब बांटना विधिक उल्लंघन होगा। -वोटिंग स्थानों पर कोई भी प्रचार सामग्री नहीं होगी। -राजनीतिक दलों को गलत आचरण से बचने की सलाह दी गई है। 
-मतदान केंद्र तक गाड़ी का इस्तेमाल नहीं होगा। 
-राजनीतिक दल वोटरों को डरा और धमका नहीं सकते।

ड्रोन से होगी बॉर्डर पर चेकिंग

चुनाव आयोग निर्देश दिए हैं कि हर बूथ पर पीने के लिए पानी, बिजली और दिव्यांगों के लिए रैंप की व्यवस्था होगी। हर बूथ पर हेल्प डेस्क भी बनाई जाएगी। इंटरनेशनल बॉर्डर पर ड्रोन से चेकिंग होगी। वहीं, चुनाव के लिए वॉलंटियर और संविदा वाले कर्मचारी नियुक्त नहीं होंगे।

धनबल का उपयोग रोकने के लिए यूपीआई ट्रांजेक्शन भी होंगे ट्रैक

आयोग चुनाव में धनबल का उपयोग रोकने के लिए विभिन्न ऐप से होने से वाले यूपीआई ट्रांजेक्शन को भी ट्रैक करेगा। आयोग ने बैंकों को निर्देश दिए हैं कि संदेह पैदा करने वाले ट्रांजेक्शन के बारे में चुनाव आयोग को जानकारी दी जाए।

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